कहा- जुमलेबाज सरकार ने गत वर्ष ओलावृष्टि से खराब हुई फसल का अभी तक नहीं दिया मुआवजा

चंडीगढ़, 04 मार्च। अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की महासचिव, पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं सिरसा की सांसद कुमारी सैलजा ने कहा कि प्रदेश में हुई बारिश और ओलावृष्टि के चलते 12 जिलों में गेहूं और सरसों की फसल को भारी नुकसान हुआ है। गेहूं की खड़ी फसल खेतों में पूरी तरह बिछ गई है, वहीं सरसों के दाने भी झड़ गए हैं। इसके अलावा पशु चारा, सब्जियां व प्याज जैसी कई फसलों को भी भारी नुकसान हुआ है। इसलिए सरकार को कोरी बयानबाजी छोड़कर तुरंत किसानों को हुए नुकसान की गिरदावरी करवानी चाहिए और उन्हें उचित मुआवजा देना चाहिए। वैसे इस जुमलेबाज सरकार ने दिसंबर 2024 में ओलावृष्टि से खराब हुई फसल का अभी तक मुआवजा नहीं दिया है।

मीडियों को जारी बयान में सांसद कुमारी सैलजा ने कहा कि पिछले दिनों ओलावृष्टि से प्रदेश के 23 जिलों के 615 गांवों की 8.08 लाख एकड़ में खडी फसलों गेंहू, सरसों, चना, जौ और सूरजमुखी को शून्य से लेकर 100 प्रतिशत तक का भारी नुकसान हुआ है। उन्होंने कहा कि जब भी ओलावृष्टि या बारिश से फसलों को नुकसान होता है तो किसान विशेष गिरदावरी करवाकर जल्द से जल्द मुआवजा देने की मांग करते आए जो उनका हक भी है, सरकार उन्हें बरगलाते हुए गिरदारी के आदेश तो दे देती है पर बाद में खुद ही भूल जाती है कि उसने कोई आदेश दिया था और उस पर अधिकारियों ने क्या अमल किया। वर्ष 2024 में ओलावृष्ठि से 1763 गांव के 5299 किसानों ने खराब हुई 2.6 लाख एकड़ फसलें खराब हुई थी और किसानों ने इसका ब्यौरा क्षतिपूर्ति पोर्टल पर डाला था। लेकिन किसानों को मुआवजा मिलता जो दूर अभी तक सरकार ने 2.03 लाख एकड़ फसल का वेरिफिकेशन तक नहीं करवाया।

कुमारी सैलजा ने कहा कि 28 फरवरी से एक मार्च तक प्रदेश के 12 जिलों में हुई भारी ओलावृष्टि से फसलों को भारी नुकसान हुआ। गेहूं और सरसों की फसलों को अधिक नुकसान हुआ है।

सांसद कुमारी सैलजा ने कहा कि सरकार किसानों के साथ पोर्टल पोर्टल पर खेल रही है, पहले किसानों को अपनी फसलों का पूरा ब्योरा मेरी फसल मेरा ब्यौरा पोर्टल पर डालना होता है, अगर प्राकृतिक आपदा से फसल खराब हो जाए तो इसकी फिर विवरण पोर्टल पर डालना होता है, इसके बाद सरकार खराब हु़ई फसलों को वेरिफिकेशन करवाता है, इस काम में देरी होने से किसानों को सबसे ज्यादा परेशानी उठानी पड़ती है। सांसद कुमारी सैलजा ने सरकार से अपील की है कि फसलों के नुकसान की भरपाई के लिए जल्द से जल्द ठोस कदम उठाए जाएं क्योंकि ओलावृष्टि और बारिश किसानों की फसल पर ही नहीं उनकी उम्मीदों पर पानी फेर देते है। फसल पर ही किसानों के सपने सजते है और फसल खराब होने पर सपने टूटते भी है। सरकार को संवेदनशीलता दिखाते हुए प्रभावित किसानों को जल्द से जल्द देकर राहत प्रदान करनी चाहिए।

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