गुड ट्रबल लाइव ऑन नामक विरोध आंदोलन – 50 राज्यों के 1600 जगहों पर आंदोलन

घर में घिरे ट्रंप – लोकप्रियता और अप्रूवल रेटिंग में भारी गिरावट

डोनाल्ड ट्रंप का अमेरिका में अपनी पार्टी सहित, यूरोपीय यूनियन,व दुनियाँ के अनेक देशों में टैरिफ, इमीग्रेशन मुद्दों क़ा विरोध-लोग सड़कों पर उतरे

-एडवोकेट किशन सनमुखदास भावनानी

गोंदिया महाराष्ट्र- वैश्विक स्तरपर डोनाल्ड ट्रंप इन दिनों न केवल विपक्ष बल्कि अपनी पार्टी, यूरोपीय यूनियन और दुनियाभर के अनेक देशों के तीव्र विरोध का सामना कर रहे हैं। टैरिफ और इमीग्रेशन नीतियों को लेकर लोगों में असंतोष इतना बढ़ चुका है कि अमेरिका के सभी 50 राज्यों में 1600 से अधिक जगहों पर ‘गुड ट्रबल लाइव ऑन’ नामक आंदोलन जोर पकड़ चुका है। ट्रंप की नीतियों से नाराज़ लोग अब सड़कों पर हैं।

गुड ट्रबल लाइव ऑन आंदोलन का मूल उद्देश्य

यह आंदोलन प्रसिद्ध अमेरिकी नागरिक अधिकार नेता जॉन लुईस की उस ऐतिहासिक अपील से प्रेरित है जिसमें उन्होंने कहा था – “अच्छी परेशानी में पड़ो, ज़रूरी परेशानी में पड़ो, और अमेरिका की आत्मा का उद्धार करो।”
‘गुड ट्रबल लाइव्स ऑन’ आंदोलन जॉन लुईस को श्रद्धांजलि स्वरूप उनके विचारों की विरासत को आगे बढ़ाने का एक माध्यम है, जिसका लक्ष्य है – मानवाधिकारों, सामाजिक न्याय और लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा।

प्रदर्शन की व्यापकता और जनता का आक्रोश

न्यूयॉर्क, अटलांटा, सेंट लुइस, ओकलैंड, एनापोलिस समेत करीब 1600 स्थानों पर प्रदर्शन हुए। प्रदर्शनकारियों ने इमिग्रेशन कोर्ट और ICE बिल्डिंग्स के सामने नारेबाज़ी की। ट्रंप प्रशासन की स्वास्थ्य सेवाओं में कटौती, इमिग्रेशन नीतियों और सामाजिक सुरक्षा उपायों में गिरावट के विरोध में लोग एकजुट हुए।

अमेरिकी जनता की ट्रंप नीतियों से नाराज़गी

हाल के सर्वेक्षणों में यह सामने आया कि ट्रंप की अप्रूवल रेटिंग में भारी गिरावट आई है।

  • जनवरी 2025 में ट्रंप की अप्रूवल रेटिंग थी 44%, जो अब घटकर 40% रह गई है।
  • 56% अमेरिकी जनता अब ट्रंप को स्पष्ट रूप से नापसंद करती है।
  • इमीग्रेशन, मेडिकेड कटौती और सामाजिक योजनाओं की बंदी से करीब 1.1 करोड़ लोग स्वास्थ्य बीमा से बाहर हो सकते हैं।

यूरोपीय यूनियन में अमेरिका की नीतियों के खिलाफ बढ़ती नाराजगी

ब्रिटेन, जर्मनी और फ्रांस जैसे देश अब आपसी सामरिक और आर्थिक सहयोग को प्राथमिकता देने लगे हैं।

  • 17 जुलाई 2025 को ब्रिटेन और जर्मनी ने एक ऐतिहासिक मैत्री संधि पर हस्ताक्षर किए।
  • यह ट्रंप के टैरिफ वार और अमेरिका की अस्थिर विदेश नीति के प्रति अविश्वास को दर्शाता है।
  • यूरोपीय देशों में यह धारणा बन रही है कि अमेरिका अब भरोसेमंद रणनीतिक साझेदार नहीं रहा।

डोनाल्ड ट्रंप – अबतक का प्रदर्शन और तुलनात्मक विश्लेषण

डोनाल्ड ट्रंप की लोकप्रियता में भारी गिरावट आई है, जबकि बराक ओबामा और जो बाइडन को अपने कार्यकाल के पहले छह महीनों में बेहतर जनसमर्थन मिला था।

  • ट्रंप की नीतियों ने लाखों अमेरिकियों की नौकरियां छीन लीं और आर्थिक अस्थिरता बढ़ी।
  • अवैध प्रवासियों के खिलाफ अभियान से सामाजिक तनाव बढ़ा।
  • विरोध के चलते ट्रंप को सैनिकों की तैनाती तक करनी पड़ी।

निष्कर्ष – लोकतांत्रिक चेतना की जागृति का संकेत

गुड ट्रबल आंदोलन न केवल अमेरिका की आंतरिक राजनीति को झकझोर रहा है, बल्कि यह वैश्विक स्तर पर लोकतांत्रिक मूल्यों की पुनःस्थापना का आह्वान भी है। ट्रंप के खिलाफ उठ रही ये आवाजें सिर्फ राजनीतिक विरोध नहीं, बल्कि सामाजिक चेतना का परिचायक हैं। यदि किसी लोकतांत्रिक देश के प्रमुख को दीर्घकाल तक सत्ता में बने रहना है, तो उसे विचार, संवेदनशीलता और न्याय आधारित नेतृत्व देना होगा।

संकलनकर्ता लेखक –क़ानून विशेषज्ञ, स्तंभकार, साहित्यकार, अंतरराष्ट्रीय लेखक, चिंतक, कवि, संगीत माध्यमा, सीए(एटीसी) एडवोकेट किशन सनमुखदास भावनानी, गोंदिया (महाराष्ट्र)

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